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महाकुंभ- संगम तट पर भगदड़, 30 की मौत: प्रयागराज में श्रद्धालुओं की एंट्री रोकी; अखाड़ों का अमृत स्नान रद्द

अब यहां हालात काबू हैं। फोर्स लगा दी गई है। आम लोगों की एंट्री यहां रोक दी गई है

प्रयागराज के संगम तट पर मंगलवार-बुधवार की रात करीब डेढ़ बजे भगदड़ मच गई। इसमें 30 से अधिक लोगों की मौत की खबर है। 50 से ज्यादा घायल हैं

स्वरूपरानी अस्पताल के मुताबिक- 28 शव पोस्टमॉर्टम के लिए लाए जा चुके हैं। हालांकि, प्रशासन ने मौत या घायलों की संख्या को लेकर कोई जानकारी नहीं दी

भगदड़ के बाद प्रशासन के अनुरोध पर सभी 13 अखाड़ों ने आज मौनी अमावस्या का अमृत स्नान रद्द कर दिया है अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष रवींद्र पुरी ने कहा- संगम नोज पर अधिक भीड़ के कारण यह फैसला किया गया है। पीएम मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने सीएम योगी से फोन पर घटना की जानकारी ली

रिपोर्टर्स के मुताबिक, अफवाह के चलते संगम नोज पर भगदड़ मची। कुछ महिलाएं जमीन पर गिर गईं और लोग उन्हें कुचलते हुए निकल गए। हादसे के बाद 70 से ज्यादा एंबुलेंस संगम तट पर पहुंचीं। इनसे घायलों और मृतकों को अस्पताल ले जाया गया

हादसे के बाद संगम तट पर NSG कमांडो ने मोर्चा संभाल लिया। संगम नोज इलाके में आम लोगों की एंट्री बंद कर दी गई भीड़ और न बढ़े, इसलिए प्रयागराज शहर में भी श्रद्धालुओं के आने पर रोक लगा दी गई है। इसके लिए शहर की सीमा से सटे जिलों में प्रशासन को मुस्तैद कर दिया गया है

महाकुंभ में आज मौनी अमावस्या का स्नान है, जिसके चलते करीब 5 करोड़ श्रद्धालुओं के शहर में मौजूद होने का अनुमान है। प्रशासन के मुताबिक, संगम समेत 44 घाटों पर आज देर रात तक 8 से 10 करोड़ श्रद्धालुओं के डुबकी लगाने का अनुमान है

 

इससे एक दिन पहले यानी मंगलवार को साढ़े 5 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगाई। पूरे शहर में सुरक्षा के लिए 60 हजार से ज्यादा जवान तैनात हैं

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